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बदरीनाथ धाम में आरएसएस स्वयंसेवको का पथ संचलन

गापेश्वर (चमोली)। बदरीनाथ धाम में भारत माता की जय उद्घोष के साथ आरएसएस स्वयंसेवकों ने भव्य पथ संचलन किया। इस दौरान संघ के प्रांत प्रचारक डा. शैलेंद्र ने उद्बोधन सत्र में कहा कि मातृ भूमि की रक्षा हेतु शास्त्र के साथ शस्त्र भी जरूरी हैं। शरद पूर्णिमा के शुभ अवसर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के शताब्दी वर्ष के उपलक्ष्य में विश्व प्रसिद्ध श्री बदरीनाथ धाम में स्वयंसेवियों ने पथ संचलन किया। स्वामीनारायण मंदिर से शुरू हुआ पथ संचलन का श्री बदरीनाथ धाम सिंह द्वार पर समापन हुआ। इस दौरान  सभी स्वयंसेवकों ने श्री बदरीनाथ मंदिर के दर्शन कर खुशहाली की मन्नते मांगी।

इस दौरान संघ के प्रांत प्रचारक डा. शैलेंद्र ने उद्बोधन सत्र में कहा कि विजय दशमी के उपलक्ष्य में देशभर में संघ के विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए गए। उन्होंने डा हेडगेवार, बाबा साहब देवरस, रज्जू भैया आदि संघ के प्रमुख मार्गदर्शकों का स्मरण करते हुए कहा कि प्रत्येक परिवार तक स्वयंसेवी पहुंचकर युवाओं को शाखाओं में शामिल होने के लिए प्रेरित करें। उन्होंने कहा कि मातृ भूमि की रक्षा हेतु शास्त्र के साथ शस्त्र भी जरूरी हैं।

उनका कहना था कि  कलियुग में संगठन में ही शक्ति है। आज हमारी सनातन संस्कृति एवं संस्कारों का ही प्रभाव है कि आज विश्व के 60 देशों में संघ की शाखाएं हैं। संघ व्यक्ति केंद्रित नहीं बल्कि सर्वसमावेशी तथा सह अस्तित्व की भावना में विश्वास रखता है। संघ के कार्यकर्ता का जीवन मातृ भूमि के लिए न्यौछावर है। भारतीय सनातन संस्कृति ऋषि मुनियों की विरासत है इसे बचाने का काम संघ का है। बदरीपुरी में स्थानीय लोगों एवं श्रद्धालुओं ने जगह-जगह फूल वर्षा कर स्वयंसेवकों का स्वागत किया। इस दौरान संघ के  सभी दायित्वधारियों ने  संघ के 100 वर्ष पूर्ण होने की ऐतिहासिक यात्रा,  राष्ट्रीय एकता अखंडता,समाजसेवा, राष्ट्र निर्माण और संगठन के आदर्शों पर प्रकाश डाला। कार्यक्रम में विभाग प्रचारक मनोज, श्री बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति अध्यक्ष हेमंत द्विवेदी, महात्मा अमित दास जी महाराज, जिला प्रचारक मिथिलेश, अतुल शाह समेत बड़ी संख्या में स्वयंसेवक, गणमान्य नागरिक तथा तीर्थयात्री और स्थानीय लोग शामिल रहे।

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