गोपेश्वर (चमोली)। नाबालिग लड़की के साथ दुष्कर्म कर गर्भवती करने वाले आरोपी पदमेंद्र सिंह को न्यायालय ने 20 वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई है।
विशेष लोक अभियोजक (पोक्सो) मोहन पंत द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार विशेष सत्र न्यायाधीश विध्यांचल सिंह की अदालत ने नाबालिग लड़की से दुष्कर्म कर उसे गर्भवती करने के आरोप में पदमेंद्र सिंह को दोषसिद्ध पाते हुए पोक्सो अधिनियम के तहत 20 वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई है। अभियुक्त पर 20 हजार का अर्थदंड भी लगाया गया है। अर्थदंड अदा न करने पर एक माह के अतिरिक्त साधारण कारावास की सजा दी गई है। भादस की धारा 506 में एक वर्ष के कठोर कारावास तथा पांच सौ रुपये का अर्थदंड भी लगाया है। अर्थदंड की 20 हजार की धनराशि बतौर प्रतिकर पीड़िता को दी जाएगी। इसके साथ ही पीड़िता को लैंगिक अपराधों से बालको का संरक्षण एवं उत्तराखंड में अपराध से पीड़ित सहायता योजना के प्राविधानों के तहत 3 लाख प्रतिकर की धनराशि दिए जाने का आदेश राज्य सरकार को दिया गया है।
बताते चले कि यह मामला पीड़िता की माता ने गोपेश्वर थाने में तहरीर दी थी। इसमे कहा गया था कि पीडित लडकी 17 फरवरी 2024 को उन्हें बताया था कि उसके काफी दिनों से पीरियड नहीं हो रहे है। इस पर पीड़िता को जिला अस्पताल गोपेश्वर ले जाया गया। डाक्टर ने बताया कि बेटी गर्भवती है। इस बारे में लडकी से पूछताछ की गई तो उसने बताया कि जून 2023 में उसके चाचा पदमेंद्र सिंह ने जबरदस्ती शारीरिक संबंध बनाए। धमकी भी दी कि अगर यह बात किसी को बताई तो जान से मार दी जाएगी। इस तहरीर के आधार पर गोपेंश्वर थाने में 19 फरवरी 2024 को भादस तथा पोक्सो अधिनियम की धाराओं में एफआईआर दर्ज की गई। अभियुक्त को विवेचना के दौरान गिरफ्तार किया गया है। और पुलिस ने न्यायालय में आरोप पत्र दाखिल किया गया। इस मामले में 10. गवाहों को पेश किया गया। इस पर न्यायालय में अभियोजन के तथ्यों को सही पाते हुए अभियुक्त को दोषसिद्ध पाया।